बाघ के खाल की तस्करी कर रहे गिरोह का हुआ पर्दाफाश

मंडला (मध्य प्रदेश)

मध्य प्रदेश के मंडला मे बीते रात वन विभाग की टीम ने एक बड़े वन्यजीव तस्कर गिरोह का पर्दाफाश किया है। जहा उन्होने बाघ के खाल की तस्करी के फिराक मे आए तीन तस्करों को गिरफ्तार किया, जिनके पीछे से एक बड़े गिरोह का नाम सामने आया है, जिसके बारे मे और भी जानकारी निकाली जा रही है। वन विभाग की इस सफलता के पीछे कान्हा नेशनल पार्क और बिछिया वन परिक्षेत्र की टीम का संयुक्त योगदान रहा।

बाघ की खाल बेचने की फिराक मे थे तीनो आरोपी

बीती रात वन विभाग की टीम को मुखबिरों से जानकारी मिली कि कुछ तस्कर वन्यजीवों की तस्करी की फिराक मे है। जानकारी मिलते ही वन विभाग की टीम ने तस्करों को रंगे-हाथ पकड़ने की योजना बनाई। मिली जानकारी के अनुसार मौके पर सटीक स्थान पर पहुँचकर टीम ने संदिग्धों को घेराबंदी कर वहा पर मौजूद दो आरोपियों को पकड़ लिया। दोनो आरोपियो से मिली जानकारी मिली कि उनके साथ एक और साथी भी शामिल है, जिसे कड़ी मशक्कत के बाद आज सुबह गिरफ्तार कर लिया गया।

तीनो आरोपियो की पहचान ग्राम भीमपुरी निवासी मिस्तर, गोविंद और अघ्हन के रूप में हुई है। तीनो ने पूछताछ मे बताया कि उनके गिरोह मे और भी लोग शामिल है। इसके साथ ही वन विभाग की टीम यह पता लगा रही है कि बाघ का शिकार कहां और किन परिस्थितियों में किया गया है और इस खाल को कौन खरीदने वाला था।

वन्यजीवों के अंगो की तस्करी करते थे आरोपी

गिरफ्तार किए गए आरोपियो के पास से बाघ का खाल और कुछ जानवरो की हड्डियां बरामद की गई है। पुलिस के पूछताछ मे उन्होने कबूल किया कि वे इससे पहले भी कई बार वन्यजीवो के अंगो की तस्करी कर चुके है। इस बार भी वे उसी फिराक मे थे, पर मौके पर वन विभाग की टीम ने उन्हे गिरफ्तार कर उनकी योजना पर पानी फेर दिया।

संयुक्त मदद से की गई गिरफ्तारी

तस्करी की गिरफ्तारी मे कान्हा नेशनल पार्क और बिछिया वन परिक्षेत्र की टीम का संयुक्त योगदान रहा। मिली सूचना के अनुसार वन विभाग की टीम ने मौके पर पहुँचकर घेराबंदी कर इन तस्करों को उधम सिंह नगर के बाजपुर से गिरफ्तार किया। वन विभाग की टीम ने बाघ की खाल के साथ तीनो आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया और साथ ही उनके गिरोह के अन्य साथियों की तलाश जारी है।

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The Forest Times
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