केरल
अक्सर मंत्री अपने अजीबोगरीब बयानों की वजह से सुर्खियों मे आ जाते हैं। इसी तरह केरल के कृषि मंत्री ने एक ऐसा बयान दिया जिसकी वजह से वह विवाद मे फस गए। दरअसल प्रदेश मे लगातार कई सालों से जंगली सूअरों के आतंक वजह से फसल बर्बादी की समस्या बढ़ती जा रही हैं, जिसकी वजह से किसानों को नुकसान का सामना करना पड़ता है। इस सिलसिले मे कृषि मंत्री को हमेशा किसानो के आक्रोश और सवालों का सामना करना पड़ता हैं। इसी संदर्भ मे उन्होने एक ऐसा बयान दे दिया जिसकी वजह से वह विवाद मे पड़ गए।
प्रदेश सरकार को जंगली सूअर को मारकर खा जाने की देनी चाहिए अनुमति
यह विवादित बयान मंत्री जी ने पालामेल ग्राम पंचायत में आयोजित एक कार्यक्रम में कहा, जिससे पंचायत मे मौजूद सभी लोग हैरान हो गए। जब पंचायत मे मौजूद किसानो ने उनसे जंगली सूअरों से उनकी फसलों को बचाने का समाधान पूछा। इस पर केरल के कृषि मंत्री पी. प्रसाद ने कहा कि,’ मेरी व्यक्तिगत राय है कि केरल सरकार को जंगली सूअरों को मारकर उनके मांस को खाने की अनुमति दे देनी चाहिए। जंगली सूअरों की संख्या और उनके आतंक को खत्म करने के लिए यही सबसे आसान समाधान हैं। हालांकि मौजूदा कानून हमे इसकी इजाजत नहीं देता हैं परंतु अगर इसकी इजाजत मिल जाए तो किसानों की इस समस्या का सटीक समाधान हो जाएगा।’
उन्होने इसपर आगे कहा किजंगली सूअर कोई संकटग्रस्त प्रजाति नहीं हैं, यानी उसकी हत्या और आहार से उसकी आबादी पर कोई खास असर नहीं पड़ेगा। अगर हमें जंगली सूअर को मारकर उनके मांस को खाने की अनुमति मिल जाए तो हमे इस जानवर द्वारा फसलों की बर्बादी की बढ़ती समस्या से निपटने में मदद मिल सकेगी।

केरल मे पहले से ही चल रहा है जानवरों पर पारित एक विधेयक पर विवाद
अभी हाल ही मे केरल सरकार द्वारा एक कानून लाया गया। जिसमे उन जानवरों को जान से मारने की अनुमति दी गई है जो इंसानो की जान को खतरा बन कर आये होते है। जिसकी वजह से केरल सरकार पहले से ही विवाद मे चल रही थी। इसी मे मंत्री के इस तरह के विवादित बयान ने उस आग मे घी का काम किया जिससे विवाद और भी बढ़ गया। मंत्री का यह बयान उसी विधेयक के पारित होने के तुरंत बाद ही आया।
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